
मालदीव में कोचिंग, दिल से हिंदुस्तानी – कोच ओवैस हसन कमाल ने अर्मेनिया में रचा इतिहास
बोकारो, झारखंड / मालदीव / अर्मेनिया – एक छोटे शहर से निकलकर इंटरनेशनल लेवल पर देश का परचम लहराना आसान नहीं होता — लेकिन कोच ओवैस हसन कमाल ने यह कर दिखाया है।
भारत के झारखंड राज्य के बोकारो से ताल्लुक रखने वाले ओवैस कमाल वर्तमान में मालदीव में बैडमिंटन कोच के रूप में कार्यरत हैं। हाल ही में उन्होंने अपनी खिलाड़ी लाईबा अहमद महलूफ़ को अर्मेनिया (यूरोप) में आयोजित यूथ अर्मेनिया ओपन टूर्नामेंट में भाग दिलाया — और वो भी खाली हाथ नहीं लौटीं।

लाईबा ने इस टूर्नामेंट में तीन गोल्ड मेडल जीतकर मालदीव के इतिहास में नया अध्याय लिखा, और उसके पीछे थे कोच ओवैस कमाल की रणनीति, मेहनत और विजन।
• 🏸 सिंगल्स जीत: 21-15, 21-11
• 👯♀️ वुमन डबल्स: 21-16, 21-17
• 👫 मिक्स्ड डबल्स: 21-11, 25-23
कोच कमाल ने कहा:
“मैं आज मालदीव का कोच हूँ, लेकिन मेरी आत्मा हमेशा एक भारतीय कोच की तरह सोचती है। बोकारो जैसे छोटे शहर से निकलकर यूरोप जैसे मंच पर परफॉर्म कराना — एक कोच के लिए यह बहुत गर्व का क्षण है। ये सिर्फ खिलाड़ी की जीत नहीं, ये मेरे देश भारत की जीत है।”
यह उपलब्धि केवल मालदीव के लिए नहीं, बल्कि भारत के हर उस कोच के लिए गर्व की बात है, जो सीमित संसाधनों में भी विश्व स्तर की ट्रेनिंग देने का सपना देखते हैं।

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📍 कोच प्रोफ़ाइल:
• नाम: ओवैस हसन कमाल
• शहर: बोकारो, झारखंड (भारत)
• वर्तमान पद: बैडमिंटन कोच, मालदीव
• उपलब्धि: पहली बार किसी भारतीय कोच की ट्रेनिंग में मालदीव की खिलाड़ी ने यूरोपियन टूर्नामेंट में 3 गोल्ड मेडल जीते